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तय करना होगा

tay karna hoga

संजय शांडिल्य

अन्य

अन्य

संजय शांडिल्य

तय करना होगा

संजय शांडिल्य

तय करना होगा

हम इस पार हैं या उस पार

'हाँ' के साथ या 'नहीं' के साथ

यह तय करने का वक़्त है, दोस्त,

और आवाज़ उठाने का

चुप बैठने से

अनेक ग़लतफ़हमियाँ पैदा हो रही हैं

एक साथ

जानता हूँ

यह जो चुप्पी है

बीच का वह रास्ता है

जिसमें विचार की नदी बहती है

और यह भी

कि इससे

अंतहीन विचारों की असंख्य नदियाँ

निकलती हैं दसों दिशाओं में

हम अपने दमदार विचारों के साथ

इनमें गोते लगाते रहेंगे

और बहुत जल्द यह समय

अपने कूड़ेदान में हमें फेंक देगा

केवल रचना में भी बात कहने का वक़्त

यह नहीं है, दोस्त!

हमें किसी किसी ओर होना पड़ेगा सदेह

सच और झूठ में

एक को चुनना ही पड़ेगा

यह चुनने का वक़्त है, दोस्त,

और कार्रवाई करने का!

स्रोत :
  • रचनाकार : संजय शांडिल्य
  • प्रकाशन : हिन्दवी के लिए लेखक द्वारा चयनित

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