फ़ोन पर साक्षात्कार
फ़ोन आधुनिक जीवनशैली
का अभिन्न अंग बन चुका है और इसलिए आश्चर्यजनक नहीं कि उनसे जुड़े संदर्भ कविताओं के भी विषय बन रहे हैं। प्रस्तुत चयन ऐसी ही कुछ रचनाओं से किया गया है।
aaj ik aur baras biit gayā us ke baġhair
jis ke hote hue hote the zamāne mere